आज है International Tea Day, आखिर क्यों मनाया जाता है Tea Day, जानिए कितना पुराना है चाय का इतिहास

International Tea Day: आज पूरी दुनिया में अंतराष्ट्रीय चाय दिवस मनाया जा रहा है. सुबह आँख खुलने से लेकर पूरे दिन में 2 -3 कप चाय की चुस्कियों के बिना नहीं गुजरती। थकान हो या चाहिए इंस्टेंट एनर्जी चाय की चुस्की के साथ सब पूरा दिन अच्छी तरह गुजरता है। आज हम जानेंगे की क्यों मनाया जाता है चाय दिवस और चाय के पीछे का क्या है इतिहास।
क्यों मनाया जाता है चाय दिवस
अंतरराष्ट्रीय चाय दिवस चाय श्रमिकों की सुरक्षित कामकाजी परिस्थितियों, निष्पक्ष व्यापार और चाय के उत्पादन में सुधार को लेकर जागरूकता पैदा करने के लिए मनाया जाता है. इसके साथ ही जो लोग चाय के दीवाने होते हैं वो लोग भी इस दिन को काफी मज़े से सेलिब्रेट करते हैं.
जानिए चाय का इतिहास
चाय का इतिहास बहुत पुराना है. कहा जाता है कि लगभग 2700 ईसापूर्व चीनी शासक शेन नुंग बगीचे में बैठकर गर्म पानी पी रहे थे. इसी दौरान उनके कप में एक पेड़ की पत्ती आ गिरी. इसके बाद पानी का रंग बदल और महक भी उठी. जब राजा ने पत्ती वाले पानी के चखा तो उन्हें एक अलग स्वाद आया जो उन्हें अच्छा लगा. कुछ इस तरह से चाय का अविष्कार हुआ.वहीं कुछ कथाओं में ऐसा भी कहा जाता है कि बौद्ध भिक्षुों द्वारा चाय का इस्तेमाल औषधि के रूप में किया जाता था और यहीं से चाय की शुरुआत हुई.
वहीं भारत में चाय लाने का श्रेय ब्रिटेश ईस्ट इंडिया कंपनी को दिया जाता है. आज चाय को किसी परिचय की जरूरत नहीं है. घरों और बजारों में चाय के कई प्रकार मौजूद हैं. जैसे – मिल्क टी, वाइट टी, ब्लैक टी, ग्रीन टी, लेमन टी, आयुर्वेदिक टी,आदि. भारत में चाय का सबसे ज्यादा उत्पादन असम राज्य में किया जाता है.