देश-विदेशपॉलिटिक्सबड़ी खबर

कमलनाथ की प्रेस कॉन्फ्रेंस में मौजूद पत्रकार कोरोना पॉजिटिव पूर्व मुख्यमंत्री ने खुद को किया आइसोलेट

17 मार्च को लंदन से लौटी थी पत्रकार की बिटिया

भोपाल।   पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ( former chiefminister Kamalnath)   के प्रेस कॉन्फ्रेंस में  मौजूद पत्रकार (Journalist )   के  कोरोना पाजिटिव (covid -19 possitive )  पाए जाने के बाद कमलनाथ ने खुद को  सेल्फ आइसोलेट(self Isolate) कर लिया है।  20 मार्च को यह पत्रकार वार्ता  पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ  अपने इस्तीफे की घोषणा करने के लिए बुलाई थी।   इसमें करीब 200 पत्रकार मौजूद थे।

मध्य प्रदेश के 6 जिलों में संक्रमण पहुंच चुका है। अब तक जबलपुर में 6, इंदौर में 4, भोपाल में 2, उज्जैन, ग्वालियर और शिवपुरी में एक-एक पॉजिटिव केस मिल चुका है। इसके साथ ही प्रदेश में कोरोना के मरीजों की संख्या 15 हो गई है।

लंदन से लौटी  17 मार्च को आई थी पत्रकार की बिटिया

पत्रकार की 26 वर्षीय बेटी 17 मार्च को लंदन से दिल्ली पहुंची थी। आईजीआई एयरपोर्ट पर स्क्रीनिंग के बाद डॉक्टर्स ने उसे फिट घोषित किया। इससे बाद वह शताब्दी एक्सप्रेस में सवार होकर भोपाल आई। फिर परिजन ने कलेक्टर तरुण पिथौड़े से संपर्क कर उसकी कोरोना जांच की मांग की। इस पर जेपी अस्पताल के डॉक्टर्स की टीम ने घर पहुंचकर लड़की के थ्रोट के सुआब का नमूना लिया, इसकी रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी।

 हमीदिया अस्पताल में 600 बेड रिजर्व 

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने आला अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि जहां से विदेशी मेहमान लौटे हैं, ऐसे सभी राष्ट्रीय उद्यानों, पर्यटन क्षेत्रों की सघन जांच की जाए। निजी अस्पतालों में उपलब्ध मेडिकल अमले का भी उपयोग करें। दूसरी ओर, प्रशासन ने भोपाल के हमीदिया अस्पताल को खाली कराने के आदेश दिए हैं। इसमें 600 बैड कोरोना मरीजों के लिए रिजर्व हैं। अन्य 200 बेड पर अभी मरीज हैं, जिन्हें दो दिन में कहीं और शिफ्ट कर दिया जाएगा। इसके अलावा इंदौर, ग्वालियर, जबलपुर, सागर और रीवा मेडिकल कॉलेज से जुड़े अस्पतालों को महामारी के इलाज का सेंटर बनाया जाएगा।

 5 विशेषज्ञ डॉक्टरों की यूनिट, हफ्तेभर ड्यूटी
हमीदिया अस्पताल अधीक्षक डॉ. एके श्रीवास्तव ने बताया कि कोरोना मरीजों का इलाज करने के लिए तीन यूनिट बनाई गई हैं। प्रत्येक यूनिट में पल्मोनोलॉजिस्ट, मेडिसिन, पीडियाट्रिक, ईएनटी और एनीस्थीसिया विशेषज्ञ डॉक्टर ड्यूटी करेंगे। यूनिट में ड्यूटी करने वाले डॉक्टर एक सप्ताह तक मरीजों का इलाज करेंगे। इन्हें एक सप्ताह की ड्यूटी खत्म होने के बाद 14 दिन के लिए क्वारैंटाइन सेंटर में भेजा जाएगा। इसकी वजह मरीज का इलाज करने वाले डॉक्टर्स, पैरामेडिकल, नर्सिंग स्टॉफ को मरीजों का इलाज करने के दौरान सबसे ज्यादा संक्रमण होने का खतरा होता है। ऐसे में स्वास्थ्य कर्मियों की  कैजुअल्टी का अंदेशा बना रहता है।

 

Tags

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
Close