रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने भेंट-मुलाकात अभियान के अनुसूचित जातियों और अनुसूचित जनजातियों के हित में एक और बड़ी पहल करते हुए आज से अंग्रेजी भाषा में जाति के नाम का उल्लेख वाले जाति प्रमाण पत्रों के वितरण का शुभारंभ किया। मुख्यमंत्री ने प्रधान जनजाति के तीन हितग्राहियों को जाति प्रमाण पत्र प्रदान किए। इन जाति प्रमाण पत्रों में पहली बार जनजाति के नाम का उल्लेख अंग्रेजी भाषा में किया गया है।
गौरतलब है कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में एक मई को आयोजित केबिनेट की बैठक में अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति के व्यक्तियों को मात्रात्मक त्रुटि के कारण जाति प्रमाण पत्र प्राप्त करने में होने वाले कठिनाईयों के निराकरण के उद्देश्य से अंग्रेजी में अधिसूचित जाति को मान्य करने तथा जाति प्रमाण पत्रों में अंग्रेजी में ही अधिसूचित जाति का उल्लेख करने का निर्णय लिया गया है। इसी निर्णय के तहत मुख्यमंत्री ने आज प्रधान जनजाति के तीन हितग्राहियों बीजापुर जिले की भैरमगढ़ तहसील के ग्राम मिनग़ाचल के सुनील कंडिक, आशा कंडिक और निशा कंडिक को जाति प्रमाण पत्र वितरित किए।
राज्य शासन के इस निर्णय से अब अनुसूचित जनजाति एवं अनुसूचित जाति के लोगों को जाति प्रमाण पत्र प्राप्त करने में कठिनाई नही होगी और वे शासन की विभिन्न योजनाओं का लाभ उठा सकेंगे। उनके शिक्षा, रोजगार, छात्रवृत्ति और विभिन्न योजनाओं में मिलने वाली रियायतों से संबंधित अधिकार सुरक्षित रहेंगे। इस निर्णय के पहले जाति या जनजाति के वास्तविक हितग्राहियों को मात्रात्मक त्रुटि के कारण प्रमाण पत्र नही मिल पाते थे, जिसके कारण वे अपने अधिकारों से वंचित रह जाते थे।