नई दिल्ली। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भारतीय सेनाओं में 4 साल के लिए सैनिकों की भर्ती वाली ‘अग्निपथ’ स्कीम का ऐलान किया है। उन्होंने कहा कि भारतीय सेनाओं की विश्व की बेहतरीन सेना बनाने के लिए रक्षा मामलों की कैबिनेट समिति ने एक बड़ा फैसला लिया है। हम अग्निपथ स्कीम ला रहे हैं। इससे भारतीय युवाओं को ‘अग्निवीर’ के तौर पर सेवा का मौका दिया जाएगा। इससे देश की सुरक्षा मजबूत होगी और युवाओं को रोजगार का अवसर मिलेगा। देश का हर युवा जीवन में सेना की भर्ती का सपना देखता है। इस अग्निपथ योजना से रोजगार के अवसर बढ़ेंगे और युवाओं को अन्य क्षेत्रों में जाने के भी अच्छे अवसर मिलेंगे।
यही नहीं सेनाओं को भी हाई स्किल रिसोर्स मिल सकेगा। अग्निवीरों के लिए एक अच्छा पे-पैकेज मिलेगा। इसके अलावा एग्जिट के वक्त अच्छी रकम दी जाएगी। इस स्कीम को समझाते हुए लेफ्टिनेंट जनरल अनिल पुरी ने कहा कि इस स्कीम से सेनाओं के पास युवा शक्ति होगी। इससे फिटनेस का लेवल और बेहतर हो सकेगा। फिलहाल भारत की सेनाओं की औसत आयु 32 वर्ष है। इस स्कीम के लागू होने से यह 24 से 26 वर्ष ही रह जाएगी। यही नहीं सेनाओं को हाई स्किल रिसोर्स भी मिल सकेगा। अग्निवीरों के लिए एक अच्छा पे-पैकेज मिलेगा। इसके अलावा एग्जिट के वक्त अच्छी रकम दी जाएगी।
लेफ्टिनेंट जनरल अनिल पुरी ने कहा कि यदि अग्निवीर सेवा के दौरान सर्वोच्च बलिदान देता है तो उसके परिवार को करोड़ रुपये की राशि दी जाएगी। इसके अलावा दिव्यांग होने की स्थिति में 48 लाख रुपये की राहत राशि प्रदान की जाएगी। अग्निपथ मॉडल के तहत सेना में (PBOR) रैंक से नीचे के अधिकारियों की भर्ती की जाएगी।
अधिकारियों ने जानकारी दी है कि 4 साल की सेवा में 6 महीने की ट्रेनिंग अवधि भी शामिल है। अग्निपथ के जरिए सेना का हिस्सा बने सैनिकों को प्रति माह 30 हजार से 40 हजार रुपये तक सैलरी मिलेगी। साथ ही इन्हें 48 लाख रुपये का इंश्योरेंस मिलेगा। अधिकारियों ने बताया कि सैनिकों को ‘अग्निवीर स्किल सर्टिफिकेट’ भी मिलेगा, जो उन्हें सेना की सेवा के बाद अन्य नौकरी हासिल करने में मदद करेगा।